गुजरात मे हमेशा से दो पक्ष ही राजनीति मे रहे है। तीसरे पक्ष को गुजरात की जनता ने कभी स्वीकार ही नहीं किया। पूर्व मुख्यमंत्री केशुभाई ने भी अपनी पार्टी गुजरात परिवर्तन पार्टी बनाई थी लेकिन उनको कोई सफलता नहीं मिली थी। लेकिन AAP ने अपने विरोध करने के अलग अंदाज के चलते लोगो को विश्वास था की AAP गुजरात की राजनीति मे तीसरा पक्ष बनके उभरेगा। लेकिन अब होता दिख नहीं रहा है।
पिछले पालिका चुनावो मे खास कर सूरत मे 27 काउंसिलर जीतने पर बहुत आशा जगी थी की गुजरात की राजनीति मे कोई मजबूत विपक्ष उभर रहा है। यही सफलता के कारण कई नामी लोग AAP सु जुड़े थे। उमने सब से बड़ा नाम उधोगपति महेशभाई सवाणी का था। महेशभाई के पिता वल्लभभाई भी बहुत नामी व्यक्ति है। महेशभाई हजारो बेटियो के पिता है। उन्होने हजारो बेटियो की शादी कारवाई है। महेशभाई का AAP मे जुडने के कारण काफी उत्साह बढ़ा था। AAP ने भी उनको को अपने मुख्य चेहरा बनाया था। लेकिन आज महेशभाई ने AAP को छोड़ दिया है।
कई प्रबुद्ध लोगो का मानना है की AAP की सबसे बड़ी गलती हिन्दू विरोधी छबि वाले गोपाल इटालिय को पूरे गुजरात के अध्यक्ष बना दिया। वैसे वे युवा है आक्रामक है। लेकिन उन्होने अपनी इमेज ही सोसियल मीडिया पर हिन्दू विरोध करके बनाई थी। कई लोगो का कहना यहभी है की उनकी हिन्दू विरोधी छबि के चलते ही अरविंद केजरीवाल को पसंद आ गई और अध्यक्ष बना दिया था। उनको अध्यक्ष बना ने के बाद पार्टी के टूटना शरू हुआ। उनकी अकड़ और महत्वकक्षा के चलते जमीनी कार्यकर्ता दूर होने लगे। उनकी हिन्दू विरोधी छबि के कारण भी कई लोग उनसे दूर होने लगे।
आज तीन बड़े चेहरे ने AAP को छोड़ा उनमे ऊपर कहा वे महेशभाई सवाणी, विजय सुवाला जो की उतर गुजरात का बड़ा चेहरा थे। जब की पार्टी प्रचार मे बहुत नामी व्यक्ति थे। उन्होने भी आज BJP का दमन थाम लिया। तीसरा चेहरा अहेमदाबाद जिला के युवा मोर्चा की उपधायक्ष नीलमबेन व्यास ने AAP छोड़कर BJP मे शामिल हो गई है। एक ही दिन मे तीन बड़े चेहरे ने AAP छोडने पर कार्यकर्ता और नेट स्तब्ध है। लगता नहीं अब AAP कुछ खास कर पाये।